‘जल्लीकट्टू’ के लिए ए आर रहमान भी रखेंगे उपवास

तमिलनाडु में पोंगल के अवसर पर खेले जाने वाले परंपरागत खेल ‘जल्लीकट्टू’ को बैन करने का मुद्दा गरमाता जा रहा है। इसको लेकर चेन्नई में बड़ा प्रोटेस्ट जारी है। इस प्रोटेस्ट को सपोर्ट करने के लिए धनुष, कमल हासन, श्रुति हासन के बाद संगीतकार ए आर रहमान सामने आ गए हैं।

ए आर रहमान भी करेंगे 'जल्लीकट्टू' के लिए उपवास
मुंबई। ऑस्कर विजेता संगीतकार ए आर रहमान ने घोषणा की है कि वो नादिगर संगम के सदस्यों के साथ शुक्रवार को एक दिन का उपवास करेंगे। रहमान ने ये जानकारी अपने ट्विटर के जरिये दी। यह उपवास वह तमिलनाडु में पोंगल के अवसर पर खेले जाने वाले परंपरागत खेल ‘जल्लीकट्टू’ प्रतिबंध के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे लोगों के साथ एकजुटता जाहिर करने के लिए करेंगे।

‘जल्लीकट्टू’ सांड को भड़काकर उसे काबू में करने का खेल है। अदालत ने इस खतरनाक खेल पर पाबंदी लगा दी है। सर्वोच्च अदालत ने ‘जल्लीकट्टू’ पर मई 2014 में प्रिवेंशन ऑफ क्रूअलिटी टू एनिमल एक्ट के तहत इस पर प्रतिबंध लगा दिया था। तभी से लोग केंद्र सरकार खेल को अनुमति दिए जाने के लिए कदम उठाने का अनुरोध कर रहे हैं।

अब ऐसे में हजारों पुरुष और महिलाएं ‘जल्लीकट्टू’ पर से प्रतिबंध ख़त्म किए जाने की मांग कर रहे हैं। वहीं दक्षिण सिनेमा के कई हस्तियों- रजनीकांत, कमल हसन और वेत्रिमारन ने प्रतिबंध के खिलाफ विरोध के प्रति समर्थन जताया है। यहां तक कि अभिनेता रणदीप हुड्डा भी ‘जल्लीकट्टू’ के सपोर्ट में आए और उन्होंने ट्विट भी किया था। 

इसके अलावा रहमान ने गुरुवार को ट्विटर पर लिखा, ‘मैं तमिलनाडु की भावना के समर्थन में शुक्रवार को उपवास कर रहा हूं’। रहमान नादिगर संगम के सदस्यों के साथ कल उपवास करेंगे। नादिगर संगम दक्षिण भारतीय कलाकारों का संघ है। 

मोदी ने किया ट्वीट

‘जल्लीकट्टू’ को लेकर बढ़ते रोष को देखते हुए मुख्यमंत्री ओ. पनीरसेल्वम ने फौरन एक अध्यादेश लाने की मांग करते हुए गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाक़ात भी की, लेकिन यह बेनतीजा रही। वहीं पीएमके सांसद अनबुमानी रामादोस सहित कई नेता ‘जल्लीकट्टू’ के समर्थन में उतर आए हैं और वो पीएम आवास के बाहर धरने पर बैठ गए हैं। 

वहीं अन्नाद्रमुक महासचिव वीके शशिकला ने आंदोलन को अपना समर्थन देते हुए कहा कि इस पर प्रतिबंध हटाने के लिए विधानसभा के अगले सत्र में एक प्रस्ताव पारित किया जाएगा। 

इस मुद्दे पर पीएम मोदी ने भी ट्वीट कर पनीरसेल्वम से हुई मुलाक़ात के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि हमारे सामने सुप्रीम कोर्ट द्वारा ‘जल्लीकट्टू’ पर लगाए गए बैन का मामला चर्चा के लिए आया। हम ‘जल्लीकट्टू’ के सांस्कृतिक महत्व को समझते हैं, लेकिन यह मामला फिलहाल न्यायालय के पास है।

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